राष्ट्रीय सेवा योजना
राष्ट्रीय सेवा योजना के "बी" व "सी" सर्टिफिकेट के परीक्षा के उत्तीर्ण हुए स्वयंसेवियों के नाम आ गये है।
राष्ट्रीय सेवा योजना
राष्ट्रीय सेवा योजना के "बी" व "सी" सर्टिफिकेट के परीक्षा के उत्तीर्ण हुए स्वयंसेवियों के नाम आ गये है।
आज दिनांक 05/06/2016 को विवेकानंद विद्या मंदिर मंडलसेरा बागेश्वर में विश्व पर्यावरण दिवस के अवसर पर विद्यालय में पेड़-पौध लगाये गए। इस कार्यक्रम का शुभारंभ माननीय वरिष्ठ हिंदी प्रवक्ता श्री दयाशंकर नगरकोटी, कार्यक्रम अधिकारी श्री कल्याण सिंह ऐठानी, अंग्रेजी के प्रवक्ता गोकुल देव जी के द्वारा माँ शारदा के समक्ष दीप प्रज्वलित कर किया गया। व कार्यक्रम में स्वीसेवियों पंकज,रोहित,संजय,सन्तोष द्वारा पर्यावरण पर भाषण प्रस्तुत किया।
तत्पश्चात स्पर्श गंगा अभियान के तहत जीतनगर के निचे सरयू नदी के किनारे स्वीसेवियों द्वारा सफाई की। और नदी नालो को साफ एवं स्वच्छ रखने का संकल्प लिया। अंत में मिष्ठान वितरण के पश्चात कर्यक्रम का समापन किया।
समस्त जानकारी facebook पर भी उपलब्ध है। देखने के लिए click करे fb/ksaithaninss.......
Posted by k.s.Aithani। Fb/ksaithaninss
प्रत्येक राष्ट्रीय सेवा योजना इकाई वर्ष में एक सात दिवसीय विशेष शिविर का आयोजन करती है। सामन्यतः शिविर ग्रीष्मकालीन/ शरदकालीन दीर्घ अवकाशों में आयोजित होते है। शिविर संस्था के निकट किसी ग्राम अथवा विकासोन्मुख बस्ती में लगाया जाता है ।
शिविर म नियमित कार्यक्रमों के साथ परियोजना कार्य भी हाथ में लिया जाता है।
शिविर की दिनचर्या
6.00बजे (प्रातः) जागरण
6.00-6.45तक नित्य-कर्म
6.45-7.15तक। प्रार्थना
7.15-7.45तक। नाश्ता
7.45-11.00तक परियोजना कार्य
11.30-12.30तक। स्नान
12.30-1.30तक(दोपहर ) भोजन
1.30-2.30तक विश्राम
2.30-4.15तक। बौद्धिक कार्यक्रम
4.15-4.30तक चाय
4-30-6.00तक(शाम) खेलकूद
6.00-6.30तक। अवकाश
6.30-7.00तक। बैठक
7.00-8.00तक भोजन
8.00-10.00तक कार्यक्रम
10.00बजे (रात्रि।) शयन
About NSS :
Introduction
National Service Scheme (NSS) is a Youth Programme under the Ministry of Youth Affairs and Sports, Government of India and funded by Government of India
Objectives:
The Main Objectives of National Service Scheme (NSS) are:
The Volunteers
Understand the community in which they work.
Understand themselves in relation to their community.
Identify the needs and problems of the community and involve them in problem solving.
Develop in themselves a sense of social and civic responsibility.
Develop the competence required for group –living and sharing responsibilities.
Gain skills in mobilizing community participation.
Acquire leadership qualities and democratic attitude.
Develop capacity to adapt to emergency situation like natural disasters and
Practice National integration and Harmony.
On the whole NSS is about:
"Personality development of students through Community Service."
Moto
The motto of NSS is "NOT ME BUT YOU" . It underlines that the welfare of an individual is ultimately dependent on the welfare of the society as a whole. This expresses the essence of democratic living and upholds the need of self-less service and appreciation of the other man's point of view and also consideration for fellow human beings. Therefore NSS volunteers shall strive for the well being of the society.
Symbol
The NSS symbol is based on the "Rath Wheel" of the Konark Sun Temple of Orissa. The giant wheel portrays the cycles of creation, preservation and release and signifies the movement in life across time and space. The design of the symbol, a simplified form of Sun Chariot Wheel primarily depicts movement. The wheel signifies the progressive cycle of life. The symbol thus stands for continuity as well as change and implies the continuous striving for social change.
Badge
The NSS symbol is embossed on the NSS badge. The NSS volunteers wear it while undertaking any programme or community service. The konark wheel in the symbol has eight bars, which represent the 24 hours of the day. Hence, the badge reminds the wearer to be in readiness for the service of the nation round the clock i.e. for 24 hours. The Red Colour in the badge indicates that the NSS volunteers are full of blood i.e. lively, active energetic and full of high spirit. The Navy Blue Colour indicates the cosmos of which the NSS is a tiny part, ready to contribute its share for the welfare of the mankind.
NSS DAY
NSS was formally launched on 24th September 1969, the birth Centenary year of Father of Nation. Therefore, 24 September is celebrated every year as NSS Day with appropriate programmes and activities.
Nss song
All NSS volunteers are expected to learn the theme song and sing the following song of NSS during programmes and celebrations.
दिवस/सप्ताह तिथि/सप्ताह
1. राष्ट्रीय युवा दिवस। 12 जनवरी
2.गणतन्त्र दिवस। 26 जनवरी
3.शहीद दिवस 30 जनवरी
4.अंतराराष्ट्रीय महिला दिवस। 08 मार्च
5.विश्व स्वस्थ्य दिवस 07 अप्रैल
6.आतंकवाद विरोध दिवस। 21 मई
7.विश्व तम्बाकू रहित दिवस। 05 जून
8.विश्व जनसंख्या दिवस।। 11 जुलाई
9.स्वतन्त्रता दिवस 15 अगस्त
10.सद्भावना दिवस। 20 अगस्त
11.अंराष्ट्रीय साक्षरता दिवस। 08 सिप्टेम्बर
12.अंतराष्ट्रिय शांति दिवस। 15 सिप्टेम्बर
13. राष्ट्रीय सेवा योजना दिवस। 24 सितम्बर
14. राष्ट्रीय रक्तदान दिवस। 01 अक्तूबर
15.राष्ट्रीय एकीकरण दिवस। 19 नवम्बर
16. विश्व एड्स दिवस 01 नवम्बर
17. विश्व मानवाधिकार दिवस। 10 दिसम्बर
सप्ताह
1.राष्ट्रीय युवा सप्ताह 12-19 जनवरी
2.वन महोत्सव। 01-07 जुलाई
3.अंराष्ट्रीय साक्षरता सप्ताह। 18-14 जुलाई
4.कौमी एकता सप्ताह। 19-25 नवम्बर
Posted by k.s.Aithani
1. नियमित कार्यक्रम
इस कार्यक्रम में स्वयंसेवी को अपने पंजीकरण के दो वर्ष के कार्यकाल में निरन्तर 240 घण्टे(120 घण्टे प्रति वर्ष) राष्ट्रीय सेवा योजना की गतिविधियों में भाग लेना अनिवार्य है। उत्तराखंड में इस कार्यक्रम की अनुदान दर ₹200/- प्रति स्वयंसेवी है।
2.विशेष शिविर कार्यक्रम
इस कार्यक्रम में स्वयंसेवी को अभिगृहित ग्राम/बस्ती में कम से कम एक दिवसीय विशेष शिविर में भाग लेना आवश्यक है। उत्तराखंड में इस कार्यक्रम की अनुदान दर ₹400/- प्रति स्वयंसेवी प्रतिवर्ष है।
राष्ट्रीय सेवा योजना का प्रतीक चिन्ह राष्ट्रीय सेवा योजना के बैज पर उत्त्कीर्ण है। प्रतीक चिन्ह में कोणार्क चक्र बना हुआ है। इसमें आठ तिलिया है, जो दिन के 24 घण्टे का प्रतिनिधित्व करती है, इसलिए जो व्यक्ति इस बैज को धारण करता है। उसे यह बैज याद दिलाता है कि वह राष्ट्र की सेवा के लिए दिन रात अर्थात 24 घंटे तत्पर रहे । बैज में जो लाल रंग है , वह इस बात का संकेत करता है कि राष्ट्रीय सेवा योजना के स्वयंसेवियों में पूरा उत्त्साह है, और वे जीवंत है। सक्रिय है और उनमे स्फूर्ति है। गहरा नीला रंग उस ब्रह्माण्ड की और संकेत करता है जिसका राष्ट्रीय सेव योजना एक छोटा सा अंश है और जो मानव मात्र का कल्याण करने के लिए अपना अंश दान करने को तैयार है।
राष्ट्रीय सेवा योजना का सिद्धान्त वाक्य है "मै नही परन्तु आप" (not me but you) ।
यह सिधांत वाक्य प्रजातंत्रिक ढंग से रहने का सार बताता है, निः स्वार्थ सेवा की आवश्यकताओ का समर्थन करता है।
महात्मा गांधी जी ने भारत के इतिहास तथा इसकी समस्याओं के विभिन्न पहलुओं का अध्ययन करने के उपरांत महसूस किया कि देश का शिक्षित युवा वर्ग यदि अपने शिक्षा प्राप्त करने की प्रक्रिया के साथ-साथ समाज सेवा का कार्य भी करे तो प्रत्येक देशवासी एक दूसरे की समस्याओ व आवश्यकताओ के अवगत होते हुए एक अटूट सम्बन्ध मेँ बन्ध जायेगा।
सन् १९५० में प्रथम शिक्षा आयोग ने छात्रो द्वारा स्वेच्छा से राष्ट्र सेवा की सस्तुति की थी। सन् १९५८ में तत्कालीन प्रधानमन्त्री पं० जवाहरलाल नेहरु द्वारा दिए गए निर्देशों ,१९५६ की शिक्षा मंत्री की बैठक, १९५९ की ही डॉ० सी०डी० देशमुख की अध्यक्षता में गठित समिति की शिफरिशो, १९६० में प्रोफेसर के०जी० सैयद्दीन द्वारा विश्व के कुछ देशो के छात्रो द्वारा की गयी राष्ट्रीय सेवा योजना के अध्ययन, शिक्षा समिति (१९६५-६६) के अध्य्क्ष डॉ० डी०एस० कोठारी की सन्तुति,१९६७ की शिक्षा मंत्रियो की बैठक १९६७ की ही उपकुलपतियो की ही बैठक तथा १९६९ की शिक्षा मन्त्रालय व विश्व विद्यालयों और उच्च शिक्षण संस्थानों के प्रतिनिधियो की बैठक जैसे विभिन्न चरणों से होते हुए राष्ट्रीय सेवा योजना की स्थापना २४ सितम्बर १९६९ को देश के ३७ विश्व विद्यालयो मेँ मात्र ४०,००० छात्र संख्या के साथ की गयी थी।